
India Fourth Largest Economy
India Fourth Largest Economy: भारत के चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के दावे पर नीति आयोग में मतभेद, CEO ने बताया हासिल, सदस्य बोले 2025 के अंत तक ही तय होगा स्थान, IMF ने भी जताई संभावना।
भारत के दुनिया की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने को लेकर नीति (India Fourth Largest Economy) आयोग के अधिकारियों के बीच मतभेद सामने आए हैं।

भारत: भारत के चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनने के दावे पर नीति आयोग में मतभेद सामने आए हैं। CEO ने भारत को पहले ही चौथे स्थान पर बताया, जबकि सदस्य बोले- 2025 के अंत तक ही होगा स्पष्ट।
नीति आयोग के CEO का दावा
India Fourth Largest Economy: नीति आयोग के CEO बीवीआर सुब्रह्मण्यम ने हाल ही में घोषणा की कि भारत ने जापान को पीछे छोड़ते हुए चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था का स्थान प्राप्त कर लिया है। उन्होंने कहा कि भारत की अर्थव्यवस्था अब 4 ट्रिलियन डॉलर की हो गई है और केवल अमेरिका, चीन और जर्मनी ही भारत से आगे हैं। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि यदि भारत अपनी योजनाओं पर कायम रहता है, तो अगले ढाई से तीन वर्षों में तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है।
J&K Pahalgam Terror Attack: दिनदहाड़े कश्मीर में बड़े आतंकी हमले के बाद उतरी सेना, एक्शन शुरू!
नीति आयोग के सदस्य का भिन्न मत
India Fourth Largest Economy: हालांकि, नीति आयोग के सदस्य डॉ. अरविंद विरमानी ने इस दावे पर संदेह जताया है। उन्होंने कहा कि भारत दिसंबर 2025 तक चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन सकता है, लेकिन इसके लिए पूरे वर्ष के आंकड़ों का विश्लेषण आवश्यक है। उनके अनुसार, वार्षिक GDP के आधार पर ही ऐसी तुलना की जा सकती है, और सटीक आंकड़े जनवरी या फरवरी 2026 में सामने आएंगे।
IMF का अनुमान
India Fourth Largest Economy: अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) ने अप्रैल 2025 में जारी अपनी वर्ल्ड इकोनॉमिक आउटलुक रिपोर्ट में अनुमान लगाया है कि भारत 2025 के अंत तक 4.19 ट्रिलियन डॉलर की GDP के साथ जापान को पीछे छोड़कर चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन जाएगा।
निष्कर्ष
India Fourth Largest Economy: हालांकि नीति आयोग के CEO का दावा है कि भारत पहले ही चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है, लेकिन नीति आयोग के सदस्य और IMF के अनुमान के अनुसार, यह उपलब्धि वर्ष 2025 के अंत तक प्राप्त होने की संभावना है। इसलिए, इस विषय पर अंतिम निष्कर्ष तक पहुंचने के लिए वर्ष के अंत में उपलब्ध होने वाले पूर्ण आर्थिक आंकड़ों की प्रतीक्षा करना उचित होगा।